परिवार के एक से अधिक सदस्यों द्वारा प्रबंधित, पारिवारिक प्रबंधन, निम्नलिखित में से कुछ कारणों की वजह से चुनौतियों का सामना करते हैं:
1) व्यवसाय को दिशा देने में मतभेद
पारिवारिक सदस्य, विशेष रूप से दूसरी पीढ़ी के बाद, रणनीति के मामलों पर आपस में ही मतभेद होते हैं, अर्थात् व्यवसाय किस तरह से बढ़ना चाहिए और विकसित होना चाहिए। कौन से नए उद्योग या बाजारों में व्यवसाय को शामिल होना चाहिए, किस प्रोडक्ट या सेवा क्षेत्र में इसे प्रस्तुत करना चाहिए, किन भौगोलिक क्षेत्रों को इसे संबोधित करना चाहिए आदि से संबंधित मतभेद एकत्रित होते रहते हैं और संघर्ष का स्रोत बनते है ।
2) अस्पष्ट भूमिका, जवाबदारियाँ और उत्तरदायित्व
यदि व्यवसाय में काम कर रहे परिवार के सदस्यों की भूमिका और जिम्मेदारियों को औपचारिक रूप से तय करने के लिए कोई अच्छी परिभाषित प्रक्रिया नहीं है, तो इस बारे में भ्रम पैदा होता है कि कौन क्या करेगा और कौन किसके लिए जिम्मेदार है। कुछ सदस्यों के पास व्यवसाय पर समान स्वामित्व अधिकार होते हैं और इसलिए उन्हें परिवार में किसी और के प्रति उत्तरदायित्व नहीं लगता है। वे अपने स्वयं के अनुसार संचालन करते हैं, और कभी-कभी व्यवसाय के हितों के विरुद्ध भी ।
3) निर्णय लेनेवाले प्राधिकारियों की अस्पष्टता के कारण संघर्ष
उपर्युक्त कारणों की वजह से, स्पष्टता की कमी रहती है कि कौन किस प्रकार के निर्णय ले सकता है | अगर परिवार के सदस्यों ने ऐसी संभावना में यदि तर्कसंगत तरीके से काम नहीं किया, तो कभी-कभी, इससे बहुत भ्रम और टालने योग्य घर्षण और अहंकार-युक्त संघर्ष निर्मित होता है।
4) व्यवसाय में परिवार के विभिन्न सदस्यों को मुआवजे व लाभ
कौन क्या पाता है, इसके बारे में विवाद और बहस हो सकती है | यदि व्यवसाय में काम कर रहे परिवार के सदस्यों के संबंध में मुआवजे और लाभ संरचना के बारे में अगर विचारपूर्वक काम नहीं किया जाता है, तो यह विवाद का मुद्दा बन सकता है।
5) नेतृत्व या उत्तराधिकार के मुद्दे
आदर्श रूप में, किसी व्यवसाय को एक ही दिशा में चलाने के लिए, एक ही व्यक्ति से नेतृत्व मिलना चाहिए। जब मूल संस्थापक व्यवसाय से सेवानिवृत्त होने की सोच रहा है, तो उसे अपने उत्तराधिकारी के संबंध में फैसला करना होगा, कि कौन उनसे बागडोर लेगा। यदि उत्तराधिकार के बारे में निर्णय पहले से नहीं लिया जाता है और यदि शीर्ष गद्दी पर एक से अधिक हक जतानेवाले संभावित लोग उभर आते हैं और नेतृत्व की स्थिति के कारण इस प्रकार का संघर्ष कई पारिवारिक व्यवसायों में आम तौर पर देखा जाता है। अगर उन्हें अच्छी तरह से हल नहीं किया, तो कभी-कभी इन संघर्षों के परिणामस्वरूप व्यवसाय का विभाजन या व्यवसाय का पूर्ण रूप से पतन हो जाता है ।
6) व्यवसाय में पारिवारिक सदस्यों के जीवन-साथियों या ससुराल पक्ष का हस्तक्षेप
यह पारिवारिक व्यवसायों पर एक अजीब प्रकार का लेकिन वास्तविक दुष्प्रभाव होता है। अपरिपक्व या गुमराह करने वाले जीवन-साथी और ससुराल वालों की प्राकृतिक मानवीय मर्यादाएँ या उनका शॉर्ट-विजन कभी-कभी अनुपात के बाहर छोटे मुद्दों को भी बड़ा बना देता हैं और एक व्यवसाय में वह संघर्ष पैदा होता है, जिसे टाला जा सकता था ।
7) संचार की कमी
जो व्यवसाय के संचालन में शामिल नहीं हैं, परिवार के ऐसे सदस्यों को जानकारियाँ सूचित करने और उन्हें साझा करने हेतु, यदि कोई औपचारिक संचार चैनल मौजूद नहीं है, तो व्यवसाय के विकास के संबंध में गलतफहमियाँ और अफवाहें फैलती हैं । इससे कई भ्रम उत्पन्न होते हैं, जो समय पर हल नहीं होने के कारण, बाद में कई समस्याओं का कारण बनते हैं |